मुख्यमंत्री बी.एस. येदियुरप्पा बने विद्रोही, नही देगें त्यागपत्र




मुख्यमंत्री बी.एस. येदियुरप्पा बने विद्रोही

कर्नाटक के मुख्यमंत्री येदियुरप्पा ने त्यागपत्र देने से ईंकार कर दिया है । पहले उन्होने आश्वासन दिया था कि ३१ जूलाई तक पद त्याग देंगें। येदियुरप्पा ने पार्टी के १२० मे से ७३ विधायको के समर्थन का दावा किया है । उन्होने लोकायुक्त की रिपोर्ट की विश्वसनियता पर भी सवाल खडे किए। भाजपा के सांसद सांसद डीबी चन्द्रे रेड्डी ने भी येदियुरप्पा के पक्ष में दलील दी कि वे पार्टी आलाकमान को समझाने का प्रयास करेंगें की लोकायुक्त के रिपोर्ट के आधार पर त्यागपत्र मांगना उचित नही है क्योंकि लोकायुक्त ने किसी भी अभियोगी को अपना पक्ष रखने का मौका नही दिया।

येदियुरप्पा को ७३ विधायक, २१ विधान पार्षद और १५ सांसद का समर्थन प्राप्त है। हालात को बिगडते देख भाजपा के अरुण जेटली तथा राजनाथ सिंह येदियुरप्पा के निवास पर गए हैं। त्यागपत्र नही देने की स्थिति में भाजपा येदियुरप्पा को पार्टी से निष्कासित भी कर सकती है । अगर येदियुरप्पा का कथन सही है कि लोकायुक्त संतोष हेगडे ने अभियोगियों को अपना पक्ष रखने का मौका नही दिया तो निश्चित रुप से यह नैसर्गिक न्याय के सिद्धांत के खिलाफ़ है । वैसे भी न्यायाधीश या उच्च पद पर बैठे व्यक्ति को रिटायरमेंट के पहले विवादास्पद फ़ैसले देने से बचना चाहिये ।
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